वो मिली भी तो क्या मिली बन के बेवफा मिली,
इतने तो मेरे गुनाह ना थे जितनी मुझे सजा मिली.
Wo Mili Bhi To Kya Mili Ban Ke Befawa Mili,
Itane To Mere Gunah Na The Jitani Mujhe Saja Mili.
बहुत अजीब हैं ये मोहब्बत करने वाले,
बेवफाई करो तो रोते हैं और बफा करो तो रुलाते हैं.
Bahut Ajib Hain Ye Mohabbat Karne Wale,
Bewafai Karo To Rote Hain Aur Bafa Karo To Rulate Hain.
सारी भूलें तेरी माफ़ की, सब खताओं को तेरी भूला दिया,
गम है कि मेरे प्यार का तूने बेवफा बनके सिला दिया.
Sari Bhulen Teri Maf Ki, Sab Khataon Ko Teri Bhula Diya,
Gum Hai Ki Mere Pyar Ka Tune Bewafa Banake Sila Diya.
इश्क़ में डूबी हुई ग़ज़ल उसे पसंद नहीं,
बेवफाई के हर शेर पे वो वाह-वाह करते हैं.
Ishq Men Dubi Huyi Gazal Use Pasand Nahin,
Bewafai Ke Har Sher Pe Wo Wah-Wah Karte Hain.
यूं नाराज़ मत हुआ करो हमसे इतने मेरे सनम,
बदकिस्मत ज़रूर हैं हम मगर बेवफा नहीं.
Yun Naraz Mat Huaa Karo Humse Itane Mere Sanam,
Badkismat Zarur Hain Hum Magar Bewafa Nahin.
ऐसे कैसे बुरा कह दूं तेरी बेवफाई को,
यही तो है जिसने मुझे मशहूर किया हैं.
Aise Kaise Bura Kah Dun Teri Bewafai Ko,
Yahi To Hai Jisne Mujhe Mashhur Kiya Hain.
मेरी निगाहों में बहने वाला ये आवारा से अश्क,
पूछ रहे है पलकों से तेरी बेवफाई की वजह.
Meri Nigahon Men Bahane Wala Ye Aawara Se Ashk,
Puch Rahe Hai Palakon Se Teri Bewafai Ki Wajah.
रूशवा क्यों करते हो तुम इश्क़ को, ए दुनिया वालो,
महबूब तुम्हारा बेवफा है, तो इश्क़ का क्या गुनाह.
Rushwa Kyon Karte Ho Tum Ishq Ko, E Duniya Walo,
Mahabub Tumhara Bewafa Hai, To Ishq Ka Kya Gunah.
महबूब अगर बेवफा हो इश्क़ अगर सच्चा हो,
मेरे यारों कहानी कुछ अधूरी-सी लगती है.
Mahabub Agar Bewafa Ho Ishq Agar Saccha Ho,
Mere Yaaron Kahani Kuch Adhuri-Si Lagati Hai.
क्या जानो तुम बेवफाई की हद दोस्तों,
वो हमसे इश्क़ सीखती रही किसी ओर के लिए.
Kya Jano Tum Bewafai Ki Had Doston,
Wo Humse Ishq Sikhati Rahi Kisi Or Ke Liye.
हमारी तबीयत भी ना जान सके हमे बेहाल देखकर,
और हम कुछ ना बता सके उन्हें खुशहाल देखकर.
Humari Tabiyat Bhi Na Jan Sake Hume Behal Dekhkar,
Aur Hum Kuch Na Bata Sake Unhen Khushhal Dekhkar.
ये ख्याल भी अच्छा है बफादार हो तुम,
बेवफा हम हैं इलज़ाम भी कम नहीं.
Ye Khyal Bhi Accha Hai Bafadar Ho Tum,
Bewafa Hum Hain Ilazam Bhi Kam Nahin.
मेरा प्यार सच्चा था इसलिए तुझे सोचता हूं,
तेरी बेवफाई सच्ची हो तो यादों में ना आना.
Mera Pyar Saccha Tha Isliye Tujhe Sochta Hun,
Teri Bewafai Sacchi Ho To Yaadon Men Na Aana.
जिनकी शायारियो में दर्द होता है,
वो शायर नही किसी बेवफा का दीवाना होता है.
Jinaki Shayariyon Men Dard Hota Hai,
Wo Shayar Nahi Kisi Bewafa Ka Deewana Hota Hai.
फिर निकलेंगे तलाश-ए-मोहब्बत के लिए,
कोई बेवफा ना मिले दुआ करना दोस्तों.
Fir Niklenge Talash-E-Mohabbat Ke Liye,
Koi Befawa Na Mile Duaa Karna Doston.
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ये मोहब्बत का शहर
तुम सा कहां कोई हमारा दिलदार
इतने तो मेरे गुनाह ना थे जितनी मुझे सजा मिली.
Wo Mili Bhi To Kya Mili Ban Ke Befawa Mili,
Itane To Mere Gunah Na The Jitani Mujhe Saja Mili.
Bewafa Shayari |
बहुत अजीब हैं ये मोहब्बत करने वाले,
बेवफाई करो तो रोते हैं और बफा करो तो रुलाते हैं.
Bahut Ajib Hain Ye Mohabbat Karne Wale,
Bewafai Karo To Rote Hain Aur Bafa Karo To Rulate Hain.
सारी भूलें तेरी माफ़ की, सब खताओं को तेरी भूला दिया,
गम है कि मेरे प्यार का तूने बेवफा बनके सिला दिया.
Sari Bhulen Teri Maf Ki, Sab Khataon Ko Teri Bhula Diya,
Gum Hai Ki Mere Pyar Ka Tune Bewafa Banake Sila Diya.
इश्क़ में डूबी हुई ग़ज़ल उसे पसंद नहीं,
बेवफाई के हर शेर पे वो वाह-वाह करते हैं.
Ishq Men Dubi Huyi Gazal Use Pasand Nahin,
Bewafai Ke Har Sher Pe Wo Wah-Wah Karte Hain.
यूं नाराज़ मत हुआ करो हमसे इतने मेरे सनम,
बदकिस्मत ज़रूर हैं हम मगर बेवफा नहीं.
Yun Naraz Mat Huaa Karo Humse Itane Mere Sanam,
Badkismat Zarur Hain Hum Magar Bewafa Nahin.
ऐसे कैसे बुरा कह दूं तेरी बेवफाई को,
यही तो है जिसने मुझे मशहूर किया हैं.
Aise Kaise Bura Kah Dun Teri Bewafai Ko,
Yahi To Hai Jisne Mujhe Mashhur Kiya Hain.
मेरी निगाहों में बहने वाला ये आवारा से अश्क,
पूछ रहे है पलकों से तेरी बेवफाई की वजह.
Meri Nigahon Men Bahane Wala Ye Aawara Se Ashk,
Puch Rahe Hai Palakon Se Teri Bewafai Ki Wajah.
रूशवा क्यों करते हो तुम इश्क़ को, ए दुनिया वालो,
महबूब तुम्हारा बेवफा है, तो इश्क़ का क्या गुनाह.
Rushwa Kyon Karte Ho Tum Ishq Ko, E Duniya Walo,
Mahabub Tumhara Bewafa Hai, To Ishq Ka Kya Gunah.
महबूब अगर बेवफा हो इश्क़ अगर सच्चा हो,
मेरे यारों कहानी कुछ अधूरी-सी लगती है.
Mahabub Agar Bewafa Ho Ishq Agar Saccha Ho,
Mere Yaaron Kahani Kuch Adhuri-Si Lagati Hai.
क्या जानो तुम बेवफाई की हद दोस्तों,
वो हमसे इश्क़ सीखती रही किसी ओर के लिए.
Kya Jano Tum Bewafai Ki Had Doston,
Wo Humse Ishq Sikhati Rahi Kisi Or Ke Liye.
हमारी तबीयत भी ना जान सके हमे बेहाल देखकर,
और हम कुछ ना बता सके उन्हें खुशहाल देखकर.
Humari Tabiyat Bhi Na Jan Sake Hume Behal Dekhkar,
Aur Hum Kuch Na Bata Sake Unhen Khushhal Dekhkar.
ये ख्याल भी अच्छा है बफादार हो तुम,
बेवफा हम हैं इलज़ाम भी कम नहीं.
Ye Khyal Bhi Accha Hai Bafadar Ho Tum,
Bewafa Hum Hain Ilazam Bhi Kam Nahin.
मेरा प्यार सच्चा था इसलिए तुझे सोचता हूं,
तेरी बेवफाई सच्ची हो तो यादों में ना आना.
Mera Pyar Saccha Tha Isliye Tujhe Sochta Hun,
Teri Bewafai Sacchi Ho To Yaadon Men Na Aana.
जिनकी शायारियो में दर्द होता है,
वो शायर नही किसी बेवफा का दीवाना होता है.
Jinaki Shayariyon Men Dard Hota Hai,
Wo Shayar Nahi Kisi Bewafa Ka Deewana Hota Hai.
फिर निकलेंगे तलाश-ए-मोहब्बत के लिए,
कोई बेवफा ना मिले दुआ करना दोस्तों.
Fir Niklenge Talash-E-Mohabbat Ke Liye,
Koi Befawa Na Mile Duaa Karna Doston.
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ये मोहब्बत का शहर
तुम सा कहां कोई हमारा दिलदार